छत्तीसगढ़ का सट्टा किंग विकास अग्रवाल: महादेव ऑनलाइन नेटवर्क से लेकर जूक क्लब हिंसा तक, जानिए पूरा मामला

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मेघा तिवारी की रिपोर्ट रायपुर(छत्तीसगढ़)


राजधानी रायपुर के वीआईपी रोड स्थित जूक क्लब एक बार फिर अपराध और सट्टा विवाद का केंद्र बन गया है। रविवार रात यहां हुई हिंसक झड़प और मारपीट ने शहर की कानून व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए हैं। पुलिस ने इस मामले में महादेव सट्टा ऐप के संचालक सौरभ चंद्राकर के भांजे पुलकित चंद्राकर और उसके रिश्तेदार प्रखर चंद्राकर को गिरफ्तार किया है।
इन दोनों को महासमुंद से गिरफ्तार कर रायपुर लाया गया है, जहां क्राइम ब्रांच उनसे गहन पूछताछ कर रही है। वहीं मुख्य आरोपी विकास अग्रवाल उर्फ विक्की अग्रवाल अब भी फरार बताया जा रहा है।

कम समय में करोड़ों का मालिक बना सट्टा किंग – विकास अग्रवाल
छत्तीसगढ़ के सबसे बड़े सटोरिया विकास अग्रवाल का नाम पिछले कुछ वर्षों से लगातार अंडरवर्ल्ड और सट्टा कारोबार में सुर्खियों में है।
कम समय में करोड़ों रुपये का मालिक बना यह युवक “विक्की अग्रवाल” के नाम से प्रसिद्ध है। उसके खिलाफ रायपुर, बिलासपुर और गुढ़ियारी थानों में हत्या के प्रयास, मारपीट, धमकी और वसूली जैसे कई गंभीर अपराध दर्ज हैं।
विकास अग्रवाल की पहचान महादेव ऑनलाइन सट्टा आईडी – Gold 365 के संचालक के रूप में की जाती है। सूत्रों के अनुसार, उसने इस नेटवर्क के माध्यम से करोड़ों की कमाई की और सट्टा कारोबार को अंतरराष्ट्रीय स्तर तक फैलाया।

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हाइपर क्लब फायरिंग से लेकर दुबई कनेक्शन तक
विक्की अग्रवाल का नाम हाइपर क्लब फायरिंग कांड से भी जुड़ा है, जिसमें उसने रोहित तोमर के साथ फायरिंग की थी।
साल 2023 में वह दुबई में नाडा पैजामाछाप सफेदपोश नेताओं के पैसों से ऐश करता देखा गया था।
यह मामला साबित करता है कि उसका नेटवर्क केवल छत्तीसगढ़ ही नहीं, बल्कि विदेशों तक फैला हुआ है।

2 जुलाई 2025 की रात: सट्टे के पैसों पर अपहरण और पिटाई
इस पूरी घटनाक्रम की जड़ें 2 जुलाई 2025 की रात से जुड़ी हैं। उस रात विकास अग्रवाल ने अपने साथियों के साथ भिलाई निवासी पुलकित चंद्राकर और उसकी महिला मित्र का अपहरण किया।
सूत्रों के मुताबिक, 28 लाख रुपये के सट्टा लेन-देन को लेकर विवाद था।
विकास ने पुलकित को रायपुर लाकर बेरहमी से पीटा।
पुलिस रिपोर्ट के अनुसार, विकास ने पिस्टल के बट से हमला किया और सार्वजनिक स्थान पर उसकी बेइज्जती भी की।
इस घटना से पूरे रायपुर में सनसनी फैल गई थी।

 


जूक क्लब हिंसा – पुरानी रंजिश का परिणाम
रविवार की रात वीआईपी रोड स्थित जूक क्लब में पुलकित चंद्राकर, प्रखर चंद्राकर और उनके साथी पार्टी कर रहे थे।
उसी दौरान वहां अजय शंकर पांडे उर्फ अज्जू पांडे भी पहुंच गया।
दोनों गुटों के बीच सट्टे के पैसों को लेकर झगड़ा हुआ, जो कुछ ही मिनटों में हिंसक रूप ले बैठा।
क्लब के अंदर टेबल-कुर्सियाँ टूटीं, लाठी और बेल्ट से मारपीट हुई, और फायरिंग जैसी आवाजें भी सुनी गईं।

पुलिस की बड़ी कार्रवाई और जांच टीमें
पुलिस ने मामले की गंभीरता को देखते हुए कई धाराओं में केस दर्ज किया है —
धारा 307 (हत्या का प्रयास), अपहरण, धमकी और आपराधिक षड्यंत्र शामिल हैं।
फिलहाल पुलकित और प्रखर को गिरफ्तार किया गया है, जबकि विकास अग्रवाल और उसके सहयोगियों की तलाश जारी है।
पुलिस ने तीन विशेष टीम बनाई हैं —
  1. क्राइम ब्रांच: गिरफ्तारी और पूछताछ
  2. स्पेशल इंटेलिजेंस यूनिट (SIU): सट्टा नेटवर्क की जांच
  3. थाना पुलिस: क्लब के सीसीटीवी और दस्तावेजों की जांच

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रायपुर की क्लब संस्कृति पर उठे सवाल
रायपुर और भिलाई के क्लब, पब और बार अब अपराधियों के अड्डे बनते जा रहे हैं।
पुलिस प्रशासन ने पहले ही देर रात पार्टियों और शराब सेवन पर रोक लगाने के निर्देश दिए थे,
लेकिन जूक क्लब की यह घटना बताती है कि इन नियमों की अनदेखी हो रही है।
अब पुलिस सभी बड़े क्लबों में सीसीटीवी निगरानी, एंट्री वेरिफिकेशन, और रात 11 बजे के बाद बंदी जैसी सख्त नीतियाँ लागू करने की तैयारी में है।

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